Chittorgarh में गूगल मैप्स से भटके परिवार का हादसा, तीन की मौत और बच्चा लापता
28 Dec, 2025
Chittorgarh, Rajasthan
चित्तौड़गढ़ जिले में एक दर्दनाक हादसा सामने आया है, जहां गूगल मैप्स के गलत नेविगेशन के कारण एक परिवार के तीन सदस्यों की मौत हो गई और एक बच्चा लापता हो गया। यह घटना रविवार सुबह चित्तौड़गढ़ के नजदीकी इलाके में हुई, जब मध्य प्रदेश से आ रहे एक परिवार का वाहन गलत रास्ते पर ले जाकर खाई में गिर गया। पुलिस के अनुसार, मृतकों में पिता, मां और एक अन्य सदस्य शामिल हैं, जबकि उनका छोटा बच्चा अभी तक नहीं मिला है। स्थानीय प्रशासन ने रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू कर दिया है, जिसमें एनडीआरएफ की टीम भी जुड़ गई है। चित्तौड़गढ़ के एसपी ने बताया कि प्रारंभिक जांच में पाया गया कि गूगल मैप्स ने यात्रियों को गलत शॉर्टकट रूट दिखाया, जो खराब सड़क और गहरी खाई से होकर गुजरता था। यह घटना पूरे राजस्थान में डिजिटल नेविगेशन ऐप्स के दुरुपयोग को लेकर बहस छेड़ रही है। विशेषज्ञों का कहना है कि ग्रामीण इलाकों में मैप्स की सटीकता पर सवाल उठते रहते हैं, खासकर कोहरे और खराब मौसम में।[5]
चित्तौड़गढ़ जिला, जो अपनी ऐतिहासिक किलों और वीरता की गाथाओं के लिए जाना जाता है, आजकल सड़क हादसों का शिकार हो रहा है। याद रहे, कुछ समय पहले भी यहां कार के ट्रक से टकराने से तीन लोगों की मौत हुई थी।[1] वर्तमान में राजस्थान भर में कोल्ड वेव और घना कोहरा छाया हुआ है, जिससे सड़क दुर्घटनाएं बढ़ गई हैं। भिलवाड़ा-अजमेर हाईवे पर 12 वाहनों की टक्कर में 6 लोग घायल हो चुके हैं।[2] चित्तौड़गढ़ में भी यही स्थिति बनी हुई है, जहां सुबह के समय विजिबिलिटी कम होने से ड्राइवरों को परेशानी हो रही है। जिला प्रशासन ने अलर्ट जारी कर दिया है और लोगों से मुख्य सड़कों पर ही यात्रा करने की अपील की है।
इसके अलावा, चित्तौड़गढ़ रेलवे स्टेशन पर अजमेर-हैदराबाद स्पेशल ट्रेन का ठहराव होने से यात्रियों को राहत मिली है। यह ट्रेन अजमेर उर्स मेला 2025 के लिए चलाई गई है, जो दोपहर 2 बजे चित्तौड़गढ़ पहुंचेगी। इससे निमach, मंदसौर और रतलाम जैसे क्षेत्रों के यात्रियों को फायदा होगा।[7] ट्रेन का शेड्यूल समयबद्ध है, जो नए साल की तैयारियों के बीच महत्वपूर्ण है।
राजस्थान में मौसम विभाग ने चित्तौड़गढ़ सहित कई जिलों में कोहरे की चेतावनी दी है। न्यूनतम तापमान 4 डिग्री सेल्सियस तक गिर गया है, जिससे जनजीवन प्रभावित हो रहा है। किसानों के लिए अच्छी खबर है कि रबी 2025 की बुआई लक्ष्य से अधिक हो चुकी है।[2] लेकिन स्वास्थ्य सेवाओं में कमी चिंता का विषय बनी हुई है। 108 और 104 एम्बुलेंस सेवाएं आधी रात के बाद बंद हो रही हैं, जो आपात स्थिति में खतरा पैदा कर रही हैं।[2]
चित्तौड़गढ़ के निवासी इस हादसे से स्तब्ध हैं। स्थानीय नेता और सामाजिक संगठन पीड़ित परिवार को न्याय दिलाने की मांग कर रहे हैं। गूगल इंडिया से भी स्पष्टीकरण मांगा जा रहा है। जिला कलेक्टर ने कहा कि सड़क सुरक्षा जागरूकता अभियान चलाया जाएगा। यह घटना न केवल चित्तौड़गढ़ बल्कि पूरे राज्य के लिए सबक है कि तकनीक के साथ सतर्कता जरूरी है। पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। मृतकों के शव पोस्टमार्टम के लिए भेज दिए गए हैं। लापता बच्चे की तलाश में ड्रोन और कुत्तों की मदद ली जा रही है। उम्मीद है कि जल्द ही सकारात्मक खबर आएगी। (शब्द संख्या: ५१२)
चित्तौड़गढ़ जिला, जो अपनी ऐतिहासिक किलों और वीरता की गाथाओं के लिए जाना जाता है, आजकल सड़क हादसों का शिकार हो रहा है। याद रहे, कुछ समय पहले भी यहां कार के ट्रक से टकराने से तीन लोगों की मौत हुई थी।[1] वर्तमान में राजस्थान भर में कोल्ड वेव और घना कोहरा छाया हुआ है, जिससे सड़क दुर्घटनाएं बढ़ गई हैं। भिलवाड़ा-अजमेर हाईवे पर 12 वाहनों की टक्कर में 6 लोग घायल हो चुके हैं।[2] चित्तौड़गढ़ में भी यही स्थिति बनी हुई है, जहां सुबह के समय विजिबिलिटी कम होने से ड्राइवरों को परेशानी हो रही है। जिला प्रशासन ने अलर्ट जारी कर दिया है और लोगों से मुख्य सड़कों पर ही यात्रा करने की अपील की है।
इसके अलावा, चित्तौड़गढ़ रेलवे स्टेशन पर अजमेर-हैदराबाद स्पेशल ट्रेन का ठहराव होने से यात्रियों को राहत मिली है। यह ट्रेन अजमेर उर्स मेला 2025 के लिए चलाई गई है, जो दोपहर 2 बजे चित्तौड़गढ़ पहुंचेगी। इससे निमach, मंदसौर और रतलाम जैसे क्षेत्रों के यात्रियों को फायदा होगा।[7] ट्रेन का शेड्यूल समयबद्ध है, जो नए साल की तैयारियों के बीच महत्वपूर्ण है।
राजस्थान में मौसम विभाग ने चित्तौड़गढ़ सहित कई जिलों में कोहरे की चेतावनी दी है। न्यूनतम तापमान 4 डिग्री सेल्सियस तक गिर गया है, जिससे जनजीवन प्रभावित हो रहा है। किसानों के लिए अच्छी खबर है कि रबी 2025 की बुआई लक्ष्य से अधिक हो चुकी है।[2] लेकिन स्वास्थ्य सेवाओं में कमी चिंता का विषय बनी हुई है। 108 और 104 एम्बुलेंस सेवाएं आधी रात के बाद बंद हो रही हैं, जो आपात स्थिति में खतरा पैदा कर रही हैं।[2]
चित्तौड़गढ़ के निवासी इस हादसे से स्तब्ध हैं। स्थानीय नेता और सामाजिक संगठन पीड़ित परिवार को न्याय दिलाने की मांग कर रहे हैं। गूगल इंडिया से भी स्पष्टीकरण मांगा जा रहा है। जिला कलेक्टर ने कहा कि सड़क सुरक्षा जागरूकता अभियान चलाया जाएगा। यह घटना न केवल चित्तौड़गढ़ बल्कि पूरे राज्य के लिए सबक है कि तकनीक के साथ सतर्कता जरूरी है। पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। मृतकों के शव पोस्टमार्टम के लिए भेज दिए गए हैं। लापता बच्चे की तलाश में ड्रोन और कुत्तों की मदद ली जा रही है। उम्मीद है कि जल्द ही सकारात्मक खबर आएगी। (शब्द संख्या: ५१२)