Jodhpur DISCOM Achieves 2000 MW Solar Milestone Under PM-KUSUM, Transforming Rural Economy
27 Dec, 2025 Jodhpur Rural, Rajasthan
जोधपुर ग्रामीण जिले में एक ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल हुई है। जोधपुर डिस्कॉम ने प्रधानमंत्री किसान ऊर्जा सुरक्षा एवं उत्थान महाभियान (पीएम-कुसुम) के तहत घटक ए और सी के संयुक्त सौर ऊर्जा क्षमता को 2017.33 मेगावाट पार कर लिया है। यह राजस्थान में पहली बार हुआ है और राष्ट्रीय स्तर पर भी महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हो रहा है। प्रबंध निदेशक डॉ. भंवरलाल ने बताया कि कुसुम-ए घटक के अंतर्गत 240 विकेंद्रीकृत सौर संयंत्र स्थापित हो चुके हैं, जिनकी कुल क्षमता 336.25 मेगावाट है। इससे किसानों को अपनी जमीन लीज पर देकर या अतिरिक्त बिजली बेचकर स्थिर आय का नया स्रोत मिला है, जो कृषि की उतार-चढ़ाव वाली कमाई के बीच राहत प्रदान कर रहा है।
इस उपलब्धि का असर ग्रामीण अर्थव्यवस्था पर गहरा पड़ रहा है। सौर संयंत्रों के रखरखाव, सुरक्षा, मरम्मत सेवाओं और सूक्ष्म आपूर्ति श्रृंखलाओं में स्थानीय रोजगार में उछाल आया है। ग्रामीण उद्यम जैसे विद्युत दुकानें, परिवहन सेवाएं फल-फूल रही हैं। बेहतर ऊर्जा उपलब्धता से पेयजल परियोजनाएं, हस्तशिल्प, डेयरी उत्पादन और कोल्ड स्टोरेज इंफ्रास्ट्रक्चर को बल मिला है। रात्रिकालीन सुरक्षा में सुधार और महिलाओं के लिए नई संभावनाएं पैदा हुई हैं। डॉ. भंवरलाल ने कहा, "2000 मेगावाट का आंकड़ा पार करना हमारी प्रतिबद्धता दर्शाता है कि किसानों को स्वच्छ, विश्वसनीय और सस्ती ऊर्जा उपलब्ध कराई जाए।" यह सफलता पारदर्शी प्रक्रियाओं, नवाचार और मजबूत टीमवर्क का परिणाम है।[1]
जोधपुर डिस्कॉम का यह कारनामा ग्रामीण राजस्थान के परिवर्तन का प्रतीक बन गया है। किसान अब सौर ऊर्जा से जुड़कर आर्थिक रूप से सशक्त हो रहे हैं। उदाहरणस्वरूप, रतनाडा, मंडोर और आसपास के ग्रामीण इलाकों में सौर प्लांटों से सैकड़ों परिवार लाभान्वित हो रहे हैं। स्थानीय युवाओं को तकनीकी प्रशिक्षण मिला है, जिससे बेरोजगारी कम हुई। इसके अलावा, पीएम सूर्य घर योजना के तहत जोधपुर में 6,436 रूफटॉप सौर प्लांट लग चुके हैं, जो राज्य में दूसरे स्थान पर है। डिस्कॉम्स की ओर से 150 यूनिट मुफ्त बिजली योजना के तहत अतिरिक्त 17,000 रुपये की सब्सिडी दी जा रही है। बैंकों द्वारा 5.75% ब्याज दर पर ऋण उपलब्ध कराया जा रहा, जिससे आमजन आसानी से सोलर अपनाने लगा।
इसके समानांतर, जोधपुर जिले में भारतमाला परियोजना के तहत हाईवे निर्माण तेज हो रहा है। रतन नगर और चंडालिया गांव के बीच ट्रेलर कार्याधीन है, जो ग्रामीण संपर्क को मजबूत करेगा। हालांकि, कुछ दुर्घटनाएं भी रिपोर्ट हुईं, जैसे मूंगफली से भरे ट्रक का हादसा, लेकिन पुलिस सक्रिय है। जोधपुर पुलिस ने कांस्टेबल भर्ती परिणाम जारी किए, जिससे ग्रामीण युवाओं में उत्साह है।[2][3]
पीएम-कुसुम की सफलता से जोधपुर ग्रामीण के गांव ऊर्जा आत्मनिर्भर बन रहे हैं। साफ-सुथरी ऊर्जा से पर्यावरण संरक्षण के साथ आर्थिक उन्नति हो रही। आने वाले समय में बैटरी एनर्जी स्टोरेज सिस्टम (बीईएसएस) का एकीकरण ग्रिड स्थिरता सुनिश्चित करेगा। ऊर्जा मंत्री हिरालाल नगर ने कहा कि मोदी और शर्मा सरकार के नेतृत्व में नवीकरणीय ऊर्जा में अभूतपूर्व वृद्धि हुई। यह ट्रेंड जोधपुर ग्रामीण को नई ऊंचाइयों पर ले जाएगा, जहां किसान उद्यमी बनें और गांव समृद्ध हों। कुल मिलाकर, यह सौर क्रांति ग्रामीण भारत का भविष्य रच रही है। (शब्द संख्या: ५०२)