फलोदी, राजस्थान। राजस्थान के फलोदी जिले के मटोड़ा क्षेत्र में भारतमाला हाईवे पर हुए भयानक सड़क हादसे ने पूरे देश को सदमे में डाल दिया है। कोलायत, बीकानेर से लौट रहे तीर्थयात्रियों से भरे टेम्पो ट्रैवलर ने पार्कed ट्रेलर से जबरदस्त टक्कर मार दी, जिसमें कम से कम **18 लोगों की मौत** हो गई, जिनमें 4 बच्चे और 10 महिलाएं शामिल हैं। यह हादसा नवंबर 2025 में घटित हुआ, लेकिन इसकी गूंज आज भी बरकरार है। पुलिस ने पुष्टि की है कि टक्कर इतनी जोरदार थी कि टेम्पो ट्रैवलर का अगला हिस्सा पूरी तरह चूरन हो गया, और घंटों तक ट्रैप्ड यात्रियों को निकालने में रेस्क्यू टीम्स को कठिनाई हुई।[1][3]
घटना स्थल फलोदी उपखंड में जोधपुर से लगभग 160 किलोमीटर दूर मटोड़ा गांव के पास है। जिला कलेक्टर श्वेता चौहान ने बताया कि सभी शव ओसियां के सरकारी अस्पताल के मोर्चरी में रखे गए हैं, जबकि घायलों को जोधपुर रेफर कर दिया गया। पुलिस कमिश्नर ओम प्रकाश पासवान ने ग्रीन कॉरिडोर बनाकर घायलों को त्वरित इलाज उपलब्ध कराने का ऐलान किया। प्रशासन जीवन बचाने और सहायता पर जुटा है।[1]
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने शोक व्यक्त किया। राष्ट्रपति मुर्मू ने एक्स पर पोस्ट कर कहा, "फलोदी हादसे में कई लोगों की मौत का समाचार अत्यंत हृदय विदारक है। शोकाकुल परिवारों के प्रति संवेदना।" पीएम मोदी ने पीएमएनआरएफ से मृतकों के परिजनों को 2 लाख और घायलों को 50 हजार रुपये की सहायता घोषित की। सीएम शर्मा ने इसे "अत्यंत दुखद" बताते हुए जिला अधिकारियों को घायलों का समुचित इलाज सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। राज्य सरकार ने प्रत्येक मृतक परिवार को 10 लाख, तीन या अधिक सदस्य खोने वालों को 25 लाख, गंभीर घायलों को 2 लाख और मामूली घायलों को 1 लाख रुपये की सहायता की। पूर्व सीएम अशोक गहलोत ने भी शोक प्रकट किया।[1][2][3]
सुप्रीम कोर्ट ने इस हादसे पर स्वत: संज्ञान लेते हुए सोमवार को सुनवाई निर्धारित की है। जस्टिस जे.के. माहेश्वरी और विजय बिश्नोई की बेंच "इन रे: फलोदी एक्सीडेंट" मामले में राजस्थान के मुख्य सचिव से व्यापक रिपोर्ट मांगी है। कोर्ट ने राष्ट्रीय राजमार्गों पर सड़क दुर्घटनाओं पर चिंता जताई। स्थानीय निवासियों का आरोप है कि भारतमाला एक्सप्रेसवे पर अपर्याप्त लाइटिंग, साइनेज की कमी और ट्रक चालकों द्वारा अवैध पार्किंग रात के सफर को खतरनाक बनाती है। ट्रक ड्राइवर अक्सर आराम के लिए हाईवे किनारे खड़े हो जाते हैं, जिससे दुर्घटनाएं बढ़ रही हैं। पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू की है।[3][6]
यह हादसा राजस्थान में सड़क सुरक्षा पर सवाल खड़े करता है। फलोदी जैसे दूरस्थ क्षेत्रों में इंफ्रास्ट्रक्चर सुधार की मांग तेज हो गई है। रेलवे ने हाल ही में राय का बाग-फलोदी ट्रैक नवीनीकरण के लिए 850 करोड़ स्वीकृत किए, लेकिन सड़क सुरक्षा पर तत्काल ध्यान जरूरी। पीड़ित ज्यादातर जोधपुर के सूरसागर क्षेत्र के तीर्थयात्री थे। प्रशासन राहत कार्यों में जुटा है, लेकिन परिवारों का दर्द कम होना मुश्किल। (शब्द संख्या: 498)